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रिपोर्ट: सैयद मशकूर

सहारनपुर: रविवार को साल का पहला सूर्यग्रहण दिखाई दिया। पूरे उत्तर प्रदेश के जनपद सहारनपुर का बेहट कस्बा ही एक ऐसा मुख्य केंद्र रहा जहां सूर्यग्रहण वालियाकार दिखाई दिया। वैज्ञानिकों की माने तो यह दुर्लभ नज़ारा अब 360 वर्षो बाद ही देखा जा सकता है। क्षेत्र में यह नजारा देखने के लिए लोग काफी उत्सुक रहे।

रविवार यानि 21 जून को आषाढ़ अमावस्या के दिन सूर्यग्रहण होना और भी महत्त्वपूर्ण दृष्टि से देखा जा रहा है। उत्तर प्रदेश की बात की जाए तो यहां सूर्य ग्रहण का काल करीब पौने चार घंटे का होगा। उत्तर प्रदेश के आखरी छोर पर बसे जनपद सहारनपुर की सीमाएं हरियाणा, उत्तराखंड व हिमाचल प्रदेश से मिली हुई है।

सहारनपुर का बेहट कस्बा अचानक से वैज्ञानिकों में चर्चा का विषय बन गया था। यहां पर सूर्यग्रहण के दौरान कुछ ऐसा होने का अनुमान लगाया गया था, जिससे यहां के लोग 360 वर्ष तक वंचित रहेंगे और यह अनुमान सच भी निकला। प्रदेश में सहारनपुर का बेहट ही ऐसा क्षेत्र है जहां पर वलयाकार सूर्यग्रहण दिखाई दिया। प्रदेश में छल्लेदार सूर्य सिर्फ सहारनपुर के बेहट में ही दिखाई दिया।

प्रगति विज्ञान संस्थान मेरठ के महासचिव एवं खगोल शास्त्री दीपक शर्मा ने बताया था कि बेहट में वलयाकार सूर्यग्रहण होगा और यह सच भी हुआ। वैज्ञानिकों का मानना है कि जिस जगह पर पूरा वलयाकार सूर्यग्रहण या पूर्ण सूर्यग्रहण होता है। वहां दोबारा ऐसी खगोलीय घटना 360 वर्ष बाद ही होती है। सहारनपुर के बेहट में सूर्यग्रहण की शुरुआत सुबह 10:22 पर हुई जो दोपहर के 1:49 तक चलेगी। यानी सहारनपुर में कुल 3 घंटे 26 मिनट 45 सेकिंड सूर्य ग्रहण रहेगा।।

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